Position Sizing Calculator (Stocks and Options) | HarGharTrader

प्रीमियम पोजीशन साइजिंग कैलकुलेटर

अपने रिस्क को मैनेज करें और सही मात्रा में ट्रेड करें

ट्रेड का डैशबोर्ड

📦 खरीदने योग्य शेयर्स
🛡️ अधिकतम रिस्क राशि
💰 कुल निवेश राशि
📉 प्रति शेयर रिस्क

ट्रेड का डैशबोर्ड

📦 खरीदने योग्य लॉट्स
🛡️ अधिकतम रिस्क राशि
💰 आवश्यक मार्जिन
⚖️ रिस्क:रिवॉर्ड अनुपात
📉 प्रति यूनिट रिस्क
🔢 कुल क्वांटिटी

पोजीशन साइजिंग: ट्रेडिंग का सबसे महत्वपूर्ण नियम

एक सफल ट्रेडर बनने की राह में सही स्टॉक चुनना या सही एंट्री पॉइंट खोजना ही सब कुछ नहीं है। सबसे महत्वपूर्ण नियम है रिस्क मैनेजमेंट, और पोजीशन साइजिंग इसका सबसे बड़ा हथियार है। यह कैलकुलेटर आपको इसी कला में महारत हासिल करने में मदद करता है।

सरल शब्दों में, पोजीशन साइजिंग यह तय करने की प्रक्रिया है कि आपको किसी एक ट्रेड में अपने कुल कैपिटल का कितना हिस्सा लगाना चाहिए, ताकि अगर ट्रेड आपके खिलाफ जाए तो भी आपका नुकसान सीमित रहे।

यह कैलकुलेटर आपकी मदद कैसे करता है?

  • भावनाओं पर नियंत्रण: अक्सर ट्रेडर डर और लालच में आकर बहुत बड़ी या बहुत छोटी पोजीशन ले लेते हैं। यह टूल आपको एक गणितीय और अनुशासित दृष्टिकोण देता है, जिससे आप भावनाओं में बहकर निर्णय लेने से बचते हैं।
  • नुकसान को सीमित करना: यह सुनिश्चित करता है कि किसी एक गलत ट्रेड से आपका पूरा अकाउंट खाली न हो जाए। आप पहले से तय कर लेते हैं कि आप अधिकतम कितना पैसा खोने को तैयार हैं।
  • लंबे समय तक टिके रहना: सही पोजीशन साइजिंग आपको बाजार में लंबे समय तक टिके रहने की ताकत देती है। छोटे-छोटे नुकसान आपको खेल से बाहर नहीं करते, बल्कि आपको सीखने और आगे बढ़ने का मौका देते हैं।

एक महत्वपूर्ण तथ्य: कई प्रोफेशनल ट्रेडर अपने कुल कैपिटल का सिर्फ 1% से 2% ही किसी एक ट्रेड में रिस्क पर लगाते हैं। यह उन्हें लगातार कई गलत ट्रेड होने के बावजूद बाजार में बने रहने में मदद करता है।

कैलकुलेटर के शब्दों को समझें:

  • ट्रेडिंग पूंजी (Trading Capital): वह कुल राशि जो आपने ट्रेडिंग के लिए रखी है।
  • रिस्क प्रतिशत (%): आप अपनी कुल पूंजी का कितना प्रतिशत एक ट्रेड में दांव पर लगाना चाहते हैं (आमतौर पर 1-2%)।
  • एंट्री प्राइस (Entry Price): वह मूल्य जिस पर आप कोई स्टॉक या ऑप्शन खरीदते हैं।
  • स्टॉप-लॉस प्राइस (Stop-Loss Price): वह मूल्य जिस पर आप अपनी पोजीशन काटकर नुकसान बुक कर लेंगे, अगर ट्रेड आपके खिलाफ जाता है।
  • लॉट साइज (Lot Size): फ्यूचर्स और ऑप्शंस में, यह शेयरों की न्यूनतम संख्या है जिसे आप खरीद या बेच सकते हैं (जैसे Nifty के लिए 50)।

अंतिम सलाह

याद रखें, ट्रेडिंग केवल मुनाफा कमाने के बारे में नहीं है; यह अपनी पूंजी को बचाने के बारे में भी है। एक अच्छा पोजीशन साइजिंग कैलकुलेटर आपका सबसे अच्छा दोस्त हो सकता है, जो आपको अनुशासित रहने और अपने ट्रेडिंग करियर को लंबा बनाने में मदद करता है। इस टूल का उपयोग हर ट्रेड से पहले करें और इसे अपनी ट्रेडिंग आदत का हिस्सा बनाएं।

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